फिरोजाबाद: जीएसटी की समस्याओं को लेकर व्यापारियों ने वित्त मंत्री से गुहार

-व्यापारियों ने एडिशनल कमिश्नर वाणिज्यकर को दिया ज्ञापन

फिरोजाबाद। जीएसटी की विभिन्न समस्याओं को लेकर मंगलवार को व्यापार मंडल के पदाधिकारियों ने जीएसटी कमिश्नर वाणिज्यकर कार्यालय में वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण के नाम संबोधित ज्ञापन सौंपा। जिसमें विभिन्न मांगों को पूरा कराए जाने की मांग की। 

व्यापारियों ने मांग करते हुए कहा कि जीएसटी-1 फाइल करते समय बीटूबी और बीटूसी के लिए समरी अलग-अलग मांगी जा रही है, जिसका कोई औचित्य नहीं है। सिर्फ व्यापारियों के उत्पीड़न के लिए समरी अलग-अलग मांगी जा रही है, जिस पर रोक लगाई जानी अत्यन्त आवश्यक है। सेन्ट्रल जीएसटी कार्यालय द्वारा 2019-20, 2020-21, 2021-22, 2022-23 एवं 2023-24 तके 5 वर्षों की सूचनाएं व कागजात 15 दिन का समय देकर मांगे जा रहे हैं तथा फिजिकल ऑडिट के लिए टीम बनाकर व्यापारी के कार्यस्थल पर भेजी जा रही है।

जबकि अधिकांश के निर्धारण पूर्व में हो चुके हैं। बार-बार नोटिस व ऑडिट किये जाने से व्यापारी उत्पीडन व भ्रष्टाचार को बढ़ावा मिलता है, जिस पर रोक लगाई जानी अत्यन्त आवश्यक है। जीएसटी रजिस्ट्रेशन सरेण्डर करने की दशा मे जीएसटीआर-10 अपलोड किये जाने के बाद भी व्यापारी को कार्यालय में बुलाने के लिए जीएसटीआर-10 फाइल करने के नोटिस भेजे जा रहे हैं, जिस पर रोक लगाई जानी अत्यन्त आवश्यक है।

सचल दस्तो के द्वारा पूरा टैक्स जमा होने के बाद भी तकनीकी आधार पर (मानवीय भूलों) अनावश्यक कमियां निकालकर जुर्माना जमा कराया जा रहा है, जिसकी आड़ में भारी भ्रष्टाचार पनप रहा है। जहाँ पूरा कर जमा है तकनीकी कमी अथवा मानवीय भूलों के आधार पर गाड़ी रोककर जुर्माना लगाये जाने पर रोक लगायी जाये।

ज्ञापन देने वालों में रमाशंकर दादा, अर्जेश उपाध्याय, स्वतंत्र गुप्ता, चंचल गोयल, नरेश पंजाबी, अनिल गुप्ता अमीन, आकृति सहयोगी, ताराचंद राठौर, अजीत लहरी, सुभाष यादव, रानू भारद्वाज, बिलाल कुरेशी, सुशील जाट, राकेश बाबू शर्मा, भानु उपाध्याय, विकास लहरी, मुन्नालाल गोला, राजेश गुप्ता, अमित पाराशर, अनिल शर्मा, सुबोध बघेल, रजनीश शर्मा, ममता शर्मा, श्यामवीर यादव, हर्षवर्धन, आकाश आदि सैकड़ो व्यापारी मौजूद रहे।